राजस्थान हाईकोर्ट की ओर से गुर्जर सहित विशेष पिछड़ा वर्ग को पांच प्रतिशत आरक्षण देने के कांगे्रस सरकार के निर्णय पर अंतरिम रोक लगाए जाने से गुर्जर समुदाय गुस्से में है। अपने आपको ठगा सा महसूस कर रहे गुर्जर आरक्षण आंदोलन के नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला व अन्य नेताओं ने तो इसे कांग्रेस सरकार की धोखाधड़ी करार देते हुए आगामी विधानसभा चुनाव में गुर्जर समाज की ओर से कांग्रेस-भाजपा के खिलाफ अपने उम्मीदवार उतारने की चेतावनी तक दे दी है। बैंसला ने दावा किया कि वे 23 सीटें जीतेंगे, 26 सीटें जितवाएंगे और 28 सीटों पर भाजपा-कांग्रेस के उम्मीदवारों को हराएंगे। गुर्जर समाज के इस ताजा रवैये से अजमेर के कांग्रेस सांसद व केन्द्रीय कंपनी मामलात राज्य मंत्री सचिन पायलट की मुश्किलें बढ़ेंगी। उनकी अजमेर सीट भी खतरे में पड़ेगी क्योंकि उनकी जीत में गुर्जरों की ही महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वर्तमान में यह माना जा रहा है कि चूंकि पायलट कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के करीबी हैं, इस कारण आगामी दिनों में उनका कद और बढ़ेगा, मगर गुर्जर समाज की नाराजगी के चलते उस पर ग्रहण लग सकता है। कांग्रेस हाईकमान अब केवल पायलट को कोई महत्वपूर्ण पद देकर ही गुर्जर समाज को राजी नहीं कर सकता। गुर्जर समाज को तो किसी भी सूरत में आरक्षण चाहिए। ऐसे में स्वाभाविक रूप से पायटल की भविष्य की राजनीति पर असर पड़ सकता है, क्योंकि राजस्थान में वे कांग्रेस के सबसे बड़े गुर्जर नेता के रूप में माने जाते हैं। लगता ये भी है कि इस स्थिति से निपटने के लिए वे कुछ विशेष प्रयास करें।
-तेजवानी गिरधर
-तेजवानी गिरधर