बुधवार, 5 फ़रवरी 2025

दरगाह शरीफ में मनाया गया वसंत उत्सव

अजमेर में ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह में हर साल मनाया जाने वाला पारंपरिक वसंत उत्सव 4 फरवरी 2025 को हर्षोल्लास के साथ सम्पन्न हुआ। दरगाह के शाही चौकी के कव्वाल असरार हुसैन के परिवार के लोगों ने परंपरा अनुसार बसंत की पेशकश की। यह रस्म दरगाह दीवान की सदारत में अदा की गई। बसंत जुलूस निजाम गेट से शुरू हुआ, जिसमें शाही कव्वालों ने अमीर खुसरो के प्रसिद्ध गीत गाते हुए वसंत का गुलदस्ता लेकर दरगाह की ओर कूच किया। गुलदस्ते को गरीब नवाज की मजार शरीफ पर चढ़ा कर परंपरा का निर्वहन किया गया। यह रस्म गंगा-जमुनी तहजीब और आपसी सौहार्द्र का प्रतीक है।

वसंत उत्सव चिश्ती परंपरा का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसे अमीर खुसरो की विरासत से जोड़ा जाता है। इसका मूल संत हजरत निजामुद्दीन औलिया से जुड़ा हुआ है। ऐसा माना जाता है कि जब उनके प्रिय शिष्य हजरत अमीर खुसरो ने वसंत ऋतु में महिलाओं को पीले वस्त्र पहन कर फूल चढ़ाते हुए देखा, तो उन्होंने भी अपने गुरु को खुश करने के लिए यह परंपरा शुरू की। तब से यह सूफी दरगाहों में वसंत मनाने की परंपरा चली आ रही है।


बहुआयामी व्यक्तित्व हैं सुपरिचित श्रमिक नेता व पत्रकार श्री कमल गर्ग

जाने-माने श्रमिक नेता रहे श्री कमल गर्ग ने 5 फरवरी 2025 को जीवन के अस्सी वसंत पूरे कर लिए। वे बहुआयामी व्यक्ति हैं। अजमेर के प्रमुख बुद्धिजीवियों में उनकी गिनती होती है। उनका जन्म 5 फरवरी 1945 को स्वर्गीय श्री किशनस्वरूप गर्ग के घर आंगन में हुआ। प्रथम वर्ष कला इंटर ड्राइंग मुम्बई, जी डी आर्च, फोटोग्राफी में रीजनल कॉलेज से विशेष प्रशिक्षण प्राप्त और औद्योगिक प्रशिक्षण केन्द्र से सिविल नक्शा नवीस डिप्लोमा किए हुए हैं। उन्होंने जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग को सन् 1963 से सेवाएं दीं और जुलाई 2000 में स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति लेकर नगर निगम व नगर सुधार न्यास के अधिकृत तकनीकी विज्ञ (नक्शा स्वीकृत करने हेतु) के रूप में काम शुरू किया। वर्तमान में अनुपम आर्कीटेक्चुरल वर्क्स का संचालन कर रहे हैं। उन्होंने 1965 में राजस्थान जलदाय कर्मचारी संघ का गठन किया और उसके संस्थापक महामंत्री और भारतीय मजदूर संघ के प्रांतीय उपाध्यक्ष रहे हैं। कांग्रेस शासन में दुर्भावनावश उनका तबादला जयपुर कर दिया गया। वहां उन्होंने राजस्थान जलदाय कर्मचारी महासंघ (भारतीय मजदूर संघ) का गठन किया। चित्तौड़ स्थानांतरण किए जाने पर कपासन, बेगूं, प्रतापगढ़, छोटी सादड़ी, बांसवाड़ा आदि में संगठन की गतिविधियों को आगे बढ़ाया। स्वास्थ्य कारणों से पदावनति ले कर अजमेर लौटे और भामसं के प्रांतीय महामंत्री श्री शेखावत से मनमुटाव होने पर भामसं छोड़ा व इंटक में शामिल हो कर इंटक समन्वय समिति के अध्यक्ष रहे। इसके बाद स्वतंत्र संगठन राजस्थान प्रावेधिक कर्मचारी संघ के प्रांतीय अध्यक्ष रहे व जन स्वास्थ्य अभियांत्रिक कर्मचारी संघ के केन्द्रीय मंत्री के रूप में काम किया। उन्होंने अजमेर जलदाय कर्मचारी बचत व साख समिति व अनुपम गृह निर्माण सहकारी समिति के अध्यक्ष पद का कार्यभार भी संभाला। खेलों में उनकी विशेष रुचि है। उन्होंने 1966 में नेहरू स्मृति खेलकूद प्रतियोगिताओं में अजमेर की पहली टीम के मैनेजर के रूप में नेतृत्व किया। लेखन के प्रति भी उनका रुझान रहा और उन्होंने अनेक संगठनों की स्मारिकाओं का संपादन किया। वे अनेक सामाजिक संस्थाओं में भी सक्रिय रूप से भागीदारी निभा रहे हैं। वे वर्तमान में अग्रवाल समाज अजमेर, राजस्थान पेंशनर समाज, व्यापार महासंघ, लोहाखान, पुलिस लाइन्स के संरक्षक, सर्वेश्वर मित्र मंडल, अजमेर के कार्यकारिणी सदस्य और अजयमेरू टाइम्स व केसरपुरा टाइम्स के संपादक हैं। उनके छोटे भाई डॉ सुरेश गर्ग नगर पालिका सेवा के अधिकारी व शहर जिला कांग्रेस के उपाध्यक्ष रहे हैं। उनके दूसरे छोटे भाई डॉ निर्मल गर्ग वरिष्ठ पत्रकार व कांग्रेस नेता हैं। अजमेरनामा न्यूज पोर्टल श्री कमल गर्ग की दीर्घायु व स्वस्थ जीवन की कामना करता है।